सुर्ख़ियों में रहे व्यक्तित्व | Current Affairs | Vision IAS
News Today Logo

    सुर्ख़ियों में रहे व्यक्तित्व

    Posted 11 Jun 2025

    6 min read

    संत कबीरदास (लगभग 14वीं-15वीं शताब्दी)

    11 जून को देशभर में संत कबीरदास जी की जयंती मनाई गई।

    संत कबीरदास के बारे में (लगभग 14वीं-15वीं शताब्दी)

    • जन्म स्थान: वाराणसी, उत्तर प्रदेश।

    प्रमुख योगदान

    • मूल विश्वास: उन्होंने कर्मकांड, जातिवाद और मूर्ति पूजा का विरोध किया। उन्होंने एक ईश्वर की भक्ति (निर्गुण भक्ति) पर जोर दिया।
    • संकलित पद: कबीर के पदों को तीन अलग-अलग लेकिन एक-दूसरे से जुड़ी परंपराओं में संकलित किया गया है:
      • कबीर बीजक को वाराणसी और उत्तर प्रदेश के अन्य स्थानों पर कबीर पंथ (कबीर का पंथ या उप-संप्रदाय) द्वारा संरक्षित किया गया है।
      • कबीर ग्रंथावली राजस्थान के दादूपंथ से जुड़ी है।
      • उनकी कई रचनाएं गुरु अर्जुन देव द्वारा संकलित आदि ग्रंथ साहिब में भी मिलती हैं।
    • भाषा और बोलियाँ: कबीर की कविताएं कई भाषाओं और बोलियों में संरक्षित हैं:
      • कुछ निर्गुण कवियों की रचनाएं विशेष भाषा ‘संत भाषा’ ('सधुक्कड़ी) में रचित है।
      • अन्य कविताएं उलटबांसी में मिलती हैं। उलटबांसी रचनाओं में कबीर ने अपनी बात को घुमा-फिरा कर और प्रचलित अर्थ से एकदम विपरीत अर्थ में अभिव्यक्ति की है।
    • Tags :
    • संत कबीरदास
    • कबीर बीजक
    • कबीर ग्रंथावली
    Watch News Today
    Subscribe for Premium Features