केंद्रीय वित्त मंत्री ने फिनटेक फर्मों से कृषि क्षेत्रक और ग्रामीण क्षेत्रों में नए बाजार विकसित करने का आह्वान किया | Current Affairs | Vision IAS
News Today Logo

    केंद्रीय वित्त मंत्री ने फिनटेक फर्मों से कृषि क्षेत्रक और ग्रामीण क्षेत्रों में नए बाजार विकसित करने का आह्वान किया

    Posted 21 Jun 2025

    12 min read

    वित्त मंत्री ने बल देकर कहा कि फिनटेक कंपनियों को ग्रामीण भारत को केवल सामाजिक जिम्मेदारी के रूप में नहीं, बल्कि नए बाजार बनाने के एक अच्छे अवसर के रूप में भी देखना चाहिए।

    फिनटेक सेक्टर के बारे में

    • फिनटेक यानी फाइनेंशियल टेक्नोलॉजी कंपनियां वे कंपनियां होती हैं, जो तकनीक के जरिए वित्तीय सेवाएं प्रदान करती हैं।
    • फिनटेक सेक्टर में डिजिटल पेमेंट, वैकल्पिक ऋण (जैसे क्राउडफंडिंग), इंश्योरटेक (बीमा से जुड़ी तकनीक), वेल्थ टेक (निवेश प्लेटफॉर्म) और इनेबलिंग टेक (जैसे AI एवं बिग डेटा के जरिए सेवाएं) शामिल हैं।
    • भारत का फिनटेक इकोसिस्टम दुनिया में तीसरा सबसे बड़ा है और यह 14% की चक्रवृद्धि वार्षिक वृद्धि दर (CAGR) से बढ़ रहा है।

    ग्रामीण भारत में फिनटेक सेक्टर की भूमिका:

    • वित्तीय समावेशन: मोबाइल ऐप और डिजिटल वॉलेट के जरिए UPI के माध्यम से उन लोगों तक बैंकिंग सेवाएं पहुंचती हैं, जिनके पास बैंक खाता नहीं है।
      ○ उदाहरण के लिए: आधार-आधारित भुगतान प्रणाली (AEPS)।
    • ऋण तक आसान पहुंच: वैकल्पिक डेटा का उपयोग करके किसानों और लघु व्यवसायों को छोटे कर्ज (माइक्रो लोन) प्रदान करती हैं।
      ○ उदाहरण के लिए: क्रॉप फंड्स जैसे एग्री-फिनटेक प्लेटफॉर्म किसानों की लेन-देन हिस्ट्री, खेती के उत्पादन आदि के आधार पर उनकी ऋण लेने की योग्यता तय करते हैं।
    • कृषि सहायता: ऐप किसानों को मंडियों के भाव, मौसम की जानकारी और बीमा जैसी सेवाएं देते हैं, जिससे वे सीधे खरीदारों से जुड़ सकते हैं।
      • उदाहरण के लिए: कृषि मंत्रालय के एग्रीमार्केट मोबाइल ऐप और फसल बीमा मोबाइल ऐप।
    • डिजिटल भुगतान और पैसे भेजना: कम खर्च, विप्रेषण (Remittance) और सुरक्षित लेन-देन से नकद पैसे का कम इस्तेमाल होता है।
      • उदाहरण के लिए: UPI से जुड़े ऐप्स जैसे- Paytm और PhonePe अब ग्रामीण इलाकों में लेन-देन के लिए तेजी से लोकप्रिय हो रहे हैं।

    ग्रामीण इलाकों में फिनटेक सेक्टर के समक्ष मौजूद चुनौतियां:

    ● डिजिटल विभाजन: डिजिटल इंफ्रास्ट्रक्चर (जैसे- इंटरनेट कनेक्टिविटी) और डिजिटल साक्षरता दोनों के अभाव के कारण लोग (विशेष रूप से महिलाएं और हाशिए पर मौजूद लोग) फिनटेक ऐप्स का इस्तेमाल नहीं कर पाते।

    ● डिजिटल सेवाओं पर विश्वास की कमी: लोग डिजिटल वित्तीय सेवाओं से अनजान होते हैं। इसके अलावा, साइबर ठगी जैसे नकारात्मक अनुभव और नकद पैसे की आदत की वजह से इन सेवाओं पर भरोसा नहीं करते।

    ● भौगोलिक और भौतिक बाधाएं: दूर-दराज के इलाकों में पारंपरिक बैंकिंग सुविधाओं की कमी के कारण फिनटेक कंपनियों के लिए हर ग्रामीण ग्राहक तक पहुंचना और सेवाएं देना मुश्किल हो जाता है।

    • Tags :
    • फिनटेक
    • वित्तीय समावेशन
    • कृषि
    • फिनटेक सेक्टर
    Watch News Today
    Subscribe for Premium Features