उत्तराखंड के धराली में बादल फटने से अचानक बाढ़ आई | Current Affairs | Vision IAS
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    उत्तराखंड के धराली में बादल फटने से अचानक बाढ़ आई

    Posted 06 Aug 2025

    1 min read

    उत्तराखंड के उत्तरकाशी जिले में खीर गंगा नदी के ऊपर बादल फटने से अचानक बाढ़ आ गई। यह अलकनंदा नदी की सहायक नदी है। 

    • इस तरह की घटनाएं उत्तराखंड में अब ज्यादा घटने लगी हैं। 2013 की केदारनाथ त्रासदी इसका एक बड़ा उदाहरण है।

    बादल फटना (Cloudburst) क्या होता है?

    • यदि किसी जगह पर एक घंटे में 10 सेंटीमीटर या उससे ज्यादा बारिश हो जाती है, तो उसे बादल फटना कहा जाता है।
    • बादल फटने की घटनाएं बहुत छोटे दायरे और कम समय में होती हैं। इसलिए इनका पहले अनुमान लगाना मुश्किल होता है।
    • इनकी निगरानी के लिए सघन रडार नेटवर्क्स या हाई-रिज़ॉल्यूशन वेदर मॉडल्स की आवश्यकता होती है।
    • ये घटनाएं मैदानों में भी घटित हो सकती हैं, लेकिन पहाड़ी इलाकों में ज्यादा होती हैं, क्योंकि वहां की भौगोलिक संरचना इनकी संभावनाओं में वृद्धि करती है।
    • राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन योजना, 2019 में बादल फटने से होने वाली आपदाओं के लिए जोखिम कम करने की रणनीति दी गई है।

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    • भौगोलिक:
      • खड़ी ढलानें अरब सागर से आने वाली गर्म व नमी युक्त हवा को तेजी से ऊपर उठने के लिए प्रेरित करती हैं। इस प्रक्रिया को ओरोग्राफिक लिफ्ट कहा जाता है।
      • इससे बड़े-बड़े ऊँचे कपासी स्तरी (Cumulonimbus) बादल बनते हैं, जो भारी मात्रा में बारिश करने में सक्षम होते हैं।
      • जब ये बादल अत्यधिक नमी से भर जाते हैं और बारिश नहीं हो पाती, तो एक समय ऐसा आता है जब ये बादल फट जाते हैं।
    • मानव-जनित:
      • वैश्विक तापमान बढ़ने के कारण भारत में अत्यधिक वर्षा की घटनाओं में समग्र वृद्धि हुई है।
      • केदारनाथ बाढ़ पर एक अध्ययन में पाया गया कि उस दौरान हुई ज्यादातर वर्षा के लिए ग्रीनहाउस गैसें और वायुमंडलीय प्रदूषक (एयरोसोल्स) जिम्मेदार थे। 
    • Tags :
    • Disaster Management
    • Cloudburst
    • Alaknanda River
    • Kheer Ganga River
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